रात में ही खाती है वुड डक
शरद अग्रवालअसम राज्य का राज्य पक्षी है व्हाइट विंग्ड वुड डक। यह बत्तखों में सबसे बड़ी होती है। इसकी लंबाई 30-35 इंच तक होती है। इनमें नर का वजन 3 से 4 किलो तक होता है, जबकि मादा 2 से 3 किलो तक की। एक वयस्क व्हाइट विंग्ड वुड डक की सबसे खास बात इनकी गर्दन और सिर का सफेद होना होता है। नरों में फीकी पीले रंग की चोंच पायी जाती है। इसके अलावा सफेद सिर और गर्दन पर काले रंग के शेड्स भी दिखते हैं। मादा नरों के मुकाबले थोड़ी छोटी होती है और सफेद सिर व गर्दन पर ज्यादा गहरे काले रंग के शेड्स पाये जाते हैं, वहीं इनके बच्चे हल्के से ब्राउनिश होते हैं।
ये बहुत ही
रहस्यात्मक तरीके से सिर्फ रात में ही खाना खाती हैं, जिसमें बीज,
अनाज, चावल, पौधे,
कीड़े, छोटी मछलियां शामिल हैं। ये अपना
घोंसला आमतौर पर पेडमें के खोल में बनाती हैं। इन्हें धीमी गति के पानी में रहना
पसंद होता है, जो आस-पास सदाबहार जंगलों से घिरा हो। यही
कारण है कि यह भारत में असम, अरुणाचल प्रदेश के अलावा
बांग्लादेश के कुछ हिस्सों से लेकर दक्षिण-पूर्व एशिया के देशों जावा, सुमात्रा तक मिलती हैं, साथ ही लाओस, थाईलैंड, वियतनाम और कम्बोडिया के वेट लैंड्स में भी
ये पाई जाती हैं।
इंटरनेशनल
यूनियन फॉर द कन्जर्वेशन ऑफ नेचर ने अपनी रेड लिस्ट में इसे एनडेंजर्ड श्रेणी में
रखा है। इसके बचाव के लिए असम राज्य ने इसे अपना राज्य पक्षी घोषित किया हुआ है।
साथ ही भारत सरकार द्वारा भी इसके संरक्षण के लिए संरक्षित स्थल
बनाये गए हैं,
जिनमें से डिबरू-साईखोवा नेशनल पार्क, डिहिंग-पटकई वाइल्डलाइफ सेंक्चुरी, नामेरी नेशनल
पार्क और नंदफा नेशनल पार्क मुख्य हैं। इसके अलावा विश्व स्तर पर भी इसके संरक्षण
के प्रयास जारी हैं।
साभार हिंदुस्तान